मां ने फेरी आंखें…समाज सेवी और डॉक्टर्स बने प्रीति के लिए फरिश्ता…
फोटो सेशन तक सिमट कर रह गई पांवटा की महिला सोशल वर्कर….

Ashoka Times…
पांवटा साहिब में इस वक्त एक महिला सिविल अस्पताल कमरा नंबर 212 में जिंदगी और मौत के बीच लड़ाई लड़ रही है धीरे धीरे अस्पताल के डाक्टर और कुछ समाज सेवी उनके लिए लिए फरिश्ता बनकर सामने आए हैं।
दरअसल प्रीति ढिल्लो सड़क किनारे दर्दनाक मौत का इंतजार कर रही थी उस समय में योगिता गोयल और हेमंत शर्मा इस महिला को अस्पताल तक लेकर आए इस महिला के सीने में गहरा जख्म और उसमें कीड़े पड़े हुए हैं ऐसे में ये दोनों अग्रणी समाजसेवी उसे ने केवल अस्पताल लाते हैं बल्कि इस वक्त उसकी दिन रात सेवा कर रहे हैं।

वहीं दूसरी और योगिता गोयल और हेमंत शर्मा ने बताया कि प्रीति में सिर्फ 3 ग्राम खून है जिसके चलते तुरंत खून की आवश्यकता है। जिसके बाद आज डाक्टर अमिताभ जैन द्वारा इस महिला के लिए नाहन से ब्लड का इंतजाम करवाया गया है जो उसे चढ़ाया जा रहा है इसके अलावा डाक्टर और नर्सिंग स्टाफ भी काफी सहयोग कर रहे हैं।
अस्पताल के एस एम ओ डाक्टर जैन क्या बोले…
बिना किसी रिश्ते के जिस तरह से इस महिला की मदद के लिए लोग सामने आ रहे हैं उनको देखते हुए हमने विशेष तौर पर डाक्टर्स को कहा है कि किसी भी चीज़ की आवश्यकता है तो अस्पताल से मदद करने का प्रयास किया जाएगा सामर्थ्य अनुसार पांवटा सिविल अस्पताल के सभी लोग इनकी मदद करने को तैयार हैं।
फोटो सेशन तक सिमट कर रह गई महिला सोशल वर्कर….
महिलाओं की सुरक्षा और उत्थान की बड़ी बड़ी बातें करने वाली समाजसेवी महिलाएं केवल मिडिया के लिए फ़ोटो सेशन तक सिमट कर रह गई है कईं बार मदद के लिए पूकारे जाने के बावजूद पांवटा की बड़ी समाज सेविकाएं एक ज़रूरत मंद महिला की मदद के लिए आगे नहीं आ पाई है।
मां ने फेरी आंखें….
वहीं यंग समाज सेविका योगिता गोयल और हेमंत शर्मा ने बताया कि प्रीति के परिवार ने उनसे मिलने के लिए मना कर दिया है। उनकी मां का कहना है कि वह अब अपनी बेटी से नहीं मिलना चाहते। यह बड़ा दुखदाई दृश्य है जब परिवार ने अपने परिवार के हिस्से को मिलने से मना कर दिया है।
प्रीति ढिल्लो का रैज्यूम…
प्रीति ढिल्लों, शैक्षिक योग्यता
> C.C.S यूनिवर्सिटी से कला में स्नातक।
C.CS यूनिवर्सिटी से अंग्रेजी में पोस्ट ग्रेजुएट
व्यावसायिक योग्यता
कंप्यूटर सॉफ्टवेयर का ज्ञान इस प्रकार है:
एमएस-ऑफिस (एमएस-वर्ड, एमएस-एक्सेल, एमएस-पावर प्वाइंट, इंटरनेट)
कार्य अनुभव
Convergys के साथ कस्टमर केयर एक्जीक्यूटिव के रूप में काम किया
*रियल साइंटिफ़ेल जिंग कॉर्पियाना ऑफिस मैनेजर के साथ काम किया
*वर्तमान में बार्कलेज के साथ प्रक्रिया सलाहकार के रूप में काम कर रहे हैं।
प्रीति ढिल्लो ने बताया कि जब वह जाॅब करती थी तो उनकी प्रति माह सैलरी 85 हजार रूपए थी उनके पति बच्चे सब है वह पिछले कई वर्षों से उन्हें नहीं देख पाई है अगर वह बच गई तो एक बार उनको देखना चाहेगी।
वही चाय का बिजनेस करने वाली संगिता भी महिला के साथ समय गुजार कर उसे एहसास करवा रही हैं कि वह अकेली नहीं हैं दर्द से गुजर रही उनकी जिंदगी जल्द पटरी पर लौटेगी।
डॉक्टर संचिता गोयल (सर्जन) सिविल अस्पताल में यंग मेडिकल ऑफिसर आई हैं। डाक्टर पीयूष तिवारी, डॉक्टर अंकुर उन्होंने भी महिला की स्थिति देखकर उसके इलाज में मदद को हाथ बढ़ाय है।