
Ashoka Times…2 august 2025
संगड़ाह के कजवा गांव की निशा व उसका नवजात शिशु दोनों , फिलहाल स्वास्थ्य है। भारी बारिश के चलते 2 दिनों से बंद है उपमंडल संगड़ाह की अधिकतर सड़कें मुसीबत में काम आने के लिए महिला के पति ने स्वास्थ्य कर्मियों व गांव वालों का धन्यवाद किया ।
मंगलवार को क्षेत्र के दूरदराज गांव कजवा से 28 वर्षीय गर्भवती महिला निशा को अस्पताल पहुंचाने के लिए ग्रामीणों को करीब 12 किलोमीटर तक चारपाई पर उठाकर लाना पड़ा। इसके बाद भी रास्ते में कई जगह कीचड़ व मलवा होने के चलते हायर की गई प्राइवेट गाड़ी को भी धक्के लगा कर अस्पताल तक बामुश्किल पहुंचाया गया। महिला के पति हेमचंद ने पहला बच्चा होने के बावजूद सफल प्रसव करवाने के लिए स्थानीय स्वास्थ्य कर्मियों तथा महिला को चारपाई पर उठाने वाले ग्रामीणों का धन्यवाद किया। स्वास्थ्य अधिकारी संगड़ाह डॉ वैभव ने कहा कि, आमतौर पर हालांकि वह पहली डिलीवरी वाला कैसे मेडिकल कॉलेज नाहन रेफर करते हैं, मगर ज्यादातर सडके बंद होने और प्रसव में समय न होने के चलते उन्होंने यही यह सफल डिलीवरी करवाई। सुविधाओं के अभाव के बावजूद यहां मरीजों बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं उपलब्ध करवाने के प्रयास किए जा रहे हैं। गौरतलब है कि, हिमाचल के पहले मुख्यमंत्री रहे डॉ परमार का हल्का रहे रेणुका विधानसभा क्षेत्र की सीएचसी संगड़ाह को वर्तमान प्रदेश सरकार द्वारा आदर्श अस्पताल घोषित किए गए जाने के बावजूद यहां एक्सरे, अल्ट्रासाउंड व जनरेटर जैसी मूलभूत सुविधाएं नहीं हैं। इसके अलावा यहां डॉक्टर व विशेषज्ञों के 10 स्विकृत पदों में से एकमात्र नियमित चिकित्सक मौजूद है, जबकि एक अन्य स्वास्थ्य परियोजना से प्रतिनियुक्त किया गया है। वर्तमान प्रदेश सरकार द्वारा संगड़ाह में विद्युत विभाग के अधिशासी अभियंता व सहायक अभियंता कार्यालय बंद किए जाने के बाद क्षेत्र में आए दिन घंटों बिजली गुल रहती है और जनरेटर न होने की चलते कई बार पूरी पूरी रात मरीजों को अंधेरे में काटनी पड़ती है। बहरहाल ग्रामीणों ने लगी बारिश में महिला को करीब 12 किलोमीटर चारपाई पर उठाकर जच्चा-बच्चा दोनों की जान बचाई।